जिला शुल्क नियामक समिति तथा स्वः वित्तपोषित माध्यमिक विद्यालयों द्वारा लिये जा रहे शुल्क एवं पठन-पाठन में आ रही कठिनाईयों के सम्बन्ध में बैठक सम्पन्न
सीतापुर जिलाधिकारी अखिलेश तिवारी की अध्यक्षता में कलेक्ट्रेट सभागार में जिला शुल्क नियामक समिति तथा स्वः वित्तपोषित माध्यमिक विद्यालयों के प्रधानाचार्यों एवं कुल अभिभावकों की विद्यालयों द्वारा लिये जा रहे शुल्क एवं पठन-पाठन में आ रही कठिनाईयों के सम्बन्ध में बैठक सम्पन्न हुयी। जिसमें जिला शुल्क नियामक समिति के सदस्यों तथा 38 विद्यालयों के प्रधानाचार्यों द्वारा प्रतिभाग किया गया। बैठक में जिला विद्यालय निरीक्षक, सीतापुर द्वारा जिला शुल्क नियामक समिति के अधिकारों एवं कर्तव्यों के सम्बन्ध में वृहत रुप से प्रकाश डालते हए अवगत कराया गया कि किसी भी विद्यालय प्रबन्धन द्वारा शुल्क की वृद्धि तीन वर्षों के पश्चात ही की जायेगी तथा विद्यालय की डेस में 05 वर्ष के उपरान्त ही बदलाव किया जा सकेगा तथा विशेष रूप स अवगत कराया गया कि विद्यालय प्रबन्धन किसी भी अभिभावक को किसी दुकान विशेष से पाठय सामग्री यथा-किताब/कापी खरीदने के लिये बाध्य नहीं करेगा, यदि ऐसी स्थिति की पुष्टि होती है, तो उक्त विद्यालय प्रबन्धन के विरूद्ध जिला शुल्क नियामक समिति द्वारा नियमानुसार कार्यवाही की जायेगी। जनपद में विद्यालयों द्वारा लॉकडाउन के दृष्टिगत समय-समय पर शुल्क के सम्बन्ध में निर्गत शासनादेशों तथा माननीय उच्च न्यायालय द्वारा शुल्क के सम्बन्ध में योजित याचिकाओं में दिये गये आदेशों पर जिलाधिकारी श्री तिवारी द्वारा प्रकाश डाला गया।

बैठक में महर्षि विद्या मंदिर पब्लिक स्कूल की प्रधानाचार्या सुश्री शिक्षा दीक्षित द्वारा जिलाधिकारी को अवगत कराया गया कि शासन तथा जिलाधिकारी एवं जिला विद्यालय निरीक्षक द्वारा समय-समय दिये गये निर्देशों का अनुपालन सुनिश्चित करते हुए विद्यालयों द्वारा शैक्षिक सत्र 2020-2021 में कोई शुल्क वृद्धि नहीं की गयी है, किन्तु अभिभावकों में यह भ्रम होने के कारण कि उनके माह-अप्रैल/मई तथा जून, 2020 के शुल्क को माफ कर दिया गया है इस भावना के चलते अभिभावकों द्वारा शुल्क को जमा नहीं कराया जा रहा है, जिससे विद्यालय प्रबन्धन के समक्ष भी कठिन स्थिति उत्पन्न हो गयी है, तथा विद्यालय के शिक्षकों को उनका परिश्रमिक भुगतान किया जाना सम्भव नहीं हो पा रहा है, इसी प्रकार की स्थिति से श्री पंकज कुमार पाण्डेय अध्यक्ष वित्तविहीन माध्यमिक शिक्षक संघ द्वारा भी जिलाधिकारी महोदय को अवगत कराया गया।

उपरोक्त के संदर्भ में जिलाधिकारी महोदय द्वारा समस्त उपस्थित प्रधानाचार्यों एवं अभिभावक संघ के प्रतिनिधि को अवगत कराया गया कि शासन अथवा उनके द्वारा फीस को माफ किये जाने के सम्बन्ध में कोई आदेश/निर्देश निर्गत नहीं किये गये हैं, प्रधानाचार्य इस सम्बन्ध में अभिभावक संघों की बैठक कर उनसे सामंजस्य स्थापित करते हुए उन्हें अवगत करायें तथा अभिभावकगण भी विद्यालयों के संचालन में सहयोग प्रदान करते हुए फीस जमा करें, कदाचित कुछ अभिभावक गण जो लॉकडाउन की स्थिति में फीस को तत्काल जमा कराये जाने की स्थिति में नहीं है, उन अभिभावकों द्वारा किस्तों में फीस को जमा करायें, जिससे अभिभावकों और विद्यालयों में एक मितव्यता की स्थिति बनी रहे।

इसी के साथ जिलाधिकारी श्री तिवारी द्वारा शैक्षिक सत्र 2020-2021 में अद्यतन होने वाले न्यूनतम प्रवेश की स्थिति पर चिंता व्यक्त करते हुए समस्त अभिभावकों एवं प्रधानाचार्यों से अपील की गयी कि वह अपने-अपने छात्र/छात्राओं को विद्यालयों में प्रवेश की कार्यवाही में भी तेजी लायें, जिससे शिक्षा के स्तर में सुधार लाया जा सके। अन्त में सभी प्रधानाचार्यों के प्रति आभार व्यक्त करते हुये बैठक का समापन किया गया।

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